By using this site, you agree to the Privacy Policy and Terms of Use.
Accept
News TodayzNews TodayzNews Todayz
  • Home
  • राज्य
    • उत्तराखण्ड
  • राजनीति
  • धर्म-संस्कृति
  • पर्यटन
  • शिक्षा
  • अन्य विषय
    • पर्यावरण
    • शासन
    • अपराध
    • स्वास्थ्य
    • विविध
Search
© 2024 News Todayz Network. All Rights Reserved.
Reading: 30 जनवरी को होगी वनाग्नि पर मॉक ड्रिल, एनडीएमए ने दिए जरूरी दिशा-निर्देश
Share
Sign In
Notification Show More
Font ResizerAa
News TodayzNews Todayz
Font ResizerAa
  • Home
  • राज्य
  • राजनीति
  • धर्म-संस्कृति
  • पर्यटन
  • शिक्षा
  • अन्य विषय
Search
  • Home
  • राज्य
    • उत्तराखण्ड
  • राजनीति
  • धर्म-संस्कृति
  • पर्यटन
  • शिक्षा
  • अन्य विषय
    • पर्यावरण
    • शासन
    • अपराध
    • स्वास्थ्य
    • विविध
Have an existing account? Sign In
Follow US
© 2024 News Todayz Network. All Rights Reserved.

Home :>News - उत्तराखण्ड - 30 जनवरी को होगी वनाग्नि पर मॉक ड्रिल, एनडीएमए ने दिए जरूरी दिशा-निर्देश

उत्तराखण्ड

30 जनवरी को होगी वनाग्नि पर मॉक ड्रिल, एनडीएमए ने दिए जरूरी दिशा-निर्देश

Aanchal
Last updated: 16/01/2025 09:54
Aanchal
Share
5 Min Read
SHARE

-आपदाओं से निपटने में समुदायों की सहभागिता पर दिया जाएगा विशेष जोर

देहरादून: उत्तराखण्ड में वनाग्नि की घटनाओं पर प्रभावी नियंत्रण पाने तथा इनके विस्तार को सीमित करने के लिए राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण गंभीर है। एनडीएमए के निर्देशन में वनाग्नि को लेकर राज्य के अत्यंत संवेदनशील सात जनपदों के 17 स्थानों पर 30 जनवरी को मॉक ड्रिल की जाएगी। मॉक ड्रिल को लेकर बुधवार को एनडीएमए के वरिष्ठ अधिकारियों ने ओरिएंटेशन एवं कोऑर्डिनेशन कॉन्फ्रेंस के माध्यम से आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।

इस अवसर पर एनडीएमए के सदस्य लेफ्टिनेंट जनरल (रि0) सैयद अता हसनैन ने कहा कि उत्तराखण्ड विभिन्न प्रकार की आपदाओं को लेकर संवेदनशील राज्य है, इसलिए एनडीएमए का फोकस उत्तराखण्ड राज्य पर रहता है। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड में प्रत्येक वर्ष वनाग्नि के कारण बहुत बेशकीमती वन संपदा नष्ट हो जाती है, इसलिए जरूरी है कि वनाग्नि पर प्रभावी तौर पर नियंत्रण किया जाए। उन्होंने कहा कि पिछले वर्ष अल्मोड़ा और नैनीताल में वनाग्नि पर जिस तरीके से नियंत्रण पाया गया, वह दिखाता है कि उत्तराखण्ड का आपदा प्रबंधन तंत्र कितना सशक्त और मजबूत है।उन्होंने कहा कि आपदाओं का सामना करने के लिए आपसी समन्वय, ज्ञान, संसाधन और आपदाओं की पहचान करना आवश्यक है। जितना हम क्षमता विकास और प्रशिक्षण के क्षेत्र में काम करेंगे, उतने ही प्रभावी तरीके से हम आपदाओं का सामना कर सकेंगे।

सचिव आपदा प्रबंधन एवं पुनर्वास विनोद कुमार सुमन ने फॉरेस्ट फायर जैसे विषय पर मॉक ड्रिल करने और इस आपदा का संज्ञान लेने पर एनडीएमए का आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड राज्य के लिए वनाग्नि एक चुनौतीपूर्ण आपदा है और उम्मीद है कि वनाग्नि की घटनाओं को रोकने और उन पर प्रभावी नियंत्रण पाने की दिशा में मॉक ड्रिल उपयोगी साबित होगी। उन्होंने कहा कि यह मॉक ड्रिल आईआरएस यानी इंसीडेंट रिस्पांस सिस्टम की गाइडलाइन्स के अनुसार आयोजित की जाएगी।

इस अवसर पर एनडीएमए के वरिष्ठ सलाहकार कमांडेंट आदित्य कुमार ने मॉक ड्रिल के आयोजन को लेकर सभी तकनीकी पहलुओं पर विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने बताया कि एनडीएमए की कई टीमें राज्य के अलग-अलग स्थानों पर मॉक ड्रिल की मॉनिटरिंग करेंगी। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड के लिए वनाग्नि एक गंभीर आपदा है और एनडीएमए का प्रयास है कि इस साल ऐसी घटनाओं पर प्रभावी नियंत्रण किया जा सके। उन्होंने कहा कि वनाग्नि के कारण न सिर्फ वन संपदा को नुकसान पहुंचता है, बल्कि मानव जीवन की हानि, स्वास्थ्य पर प्रतिकूल प्रभाव, पशु हानि और यहां तक कि भू संपदा को भी नुकसान पहुंचने की संभावना रहती है।

उन्होंने कहा कि मॉक ड्रिल के दौरान फायर फाइटर्स के पास सभी आवश्यक उपकरण और स्वयं की सुरक्षा के लिए उचित प्रबंध होना चाहिए। उन्होंने आवश्यक उपकरणों की भी सूची विस्तारपूर्वक बताई। उन्होंने मॉक अभ्यास के में ड्रोन की तैनाती, सेटेलाइट फोन, वायरलेस फोन, बाइनाकूलर्स आदि उपकरणों को रखने को कहा। उन्होंने कहा कि आईआरएस सिस्टम में विस्तारपूर्वक बताया गया है कि किस विभाग की और किस अधिकारी के क्या दायित्व और कर्तव्य हैं। आईआरएस सिस्टम में दायित्वों का बेहद अच्छे ढंग से वर्गीकरण किया गया है।

इस अवसर पर अपर मुख्य कार्यकारी अधिकारी-प्रशासन आनंद स्वरूप, अपर मुख्य कार्यकारी अधिकारी क्रियान्वयन डीआईजी राजकुमार नेगी, अपर प्रमुख वन संरक्षक निशांत वर्मा, संयुक्त सचिव एसएस त्रिपाठी, संयुक्त मुख्य कार्यकारी अधिकारी मो. ओबैदुल्लाह अंसारी, पुलिस अधीक्षक प्रमोद कुमार, डॉ. बिमलेश जोशी, उपसचिव अर्पण कुमार राजू आदि मौजूद थे।

आपदाओं का सामना करने में समुदायों की सहभागिता जरूरीः सुमन

सचिव आपदा प्रबंधन एवं पुनर्वास विनोद कुमार सुमन ने कहा कि आपदाओं  का प्रभावी तरीके से सामना करने में समुदायों की सहभागिता आवश्यक है और इस दिशा में उत्तराखण्ड राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण कार्य कर रहा है। उन्होंने कहा कि आपदा प्रबंधन किसी एक विभाग या व्यक्ति का विषय नहीं है बल्कि आपदाओं का बेहतर तरीके से सामना तभी किया जा सकता है, जब विभिन्न विभाग, एनजीओ और स्थानीय समुदाय मिलकर काम करें।

गढ़वाल के चार, कुमाऊं के तीन जिलों में होगी मॉक ड्रिल

वनाग्नि को लेकर सबसे संवेदनशील सात जिलों में मॉक ड्रिल का आयोजन किया जाएगा। कुमाऊं के अल्मोड़ा, नैनीताल, चंपावत तथा गढ़वाल के देहरादून, टिहरी, उत्तरकाशी और पौड़ी मॉक ड्रिल होगी। 30 जनवरी को मॉक अभ्यास से पहले 28 जनवरी को टेबल टॉप एक्सरसाइज का आयोजन किया जाएगा, जिसके लिए एनडीएमए के अधिकारी उत्तराखण्ड आएंगे।

Share This Article
Facebook Twitter Copy Link Print
By Aanchal
Follow:
आंचल ने MIT देहरादून से मॉस काम की पढ़ाई की है। इसके बाद विभिन्न प्रतिष्ठित समाचार पत्रों में काम किया। अगस्त २०२३ से इस पोर्टल में बतौर डिजिटल कंटेंट प्रोड्यूर्सस हैं।
Previous Article demo image v 2025 01 16t090146.455 News Todayz गाजा के साथ संघर्ष विराम समझौता अभी पूरा नहीं: इजराइल पीएम नेतन्याहू गाजा के साथ संघर्ष विराम समझौता अभी पूरा नहीं: इजराइल पीएम नेतन्याहू
Next Article निजी बसों की सवारियों को भी मिले दुर्घटना बीमा व आर्थिक सुरक्षा: सीएम धामी

Sign Up for Our Newsletter

Subscribe to our newsletter to get our newest articles instantly!

You Might Also Like

साढ़े तीन वर्षों में 23 हजार से अधिक युवाओं को मिली सरकारी नौकरी: सीएम धामी

त्रिजुगीनारायण में शादी के लिए दुनिया भर से आ रहे जोड़े, इस वर्ष 500 से अधिक बंधे विवाह के बंधन में

डीएम लेटर मॉनिटरिंग सिस्टम प्रभावी, जनमन की समस्या का टाइम बाउंड समाधान

मुख्यमंत्री ने किया 5 मोबाइल मेडिकल यूनिट का शुभारम्भ

केदारनाथ धाम में डीजे बजाकर नाचने के मामले में मुकदमा दर्ज

News TodayzNews Todayz
© 2024 News Todayz Network.. All Rights Reserved.
Welcome Back!

Sign in to your account

Lost your password?