उत्तराखंड में सभी सरकार विकास के दावे करती हैं लेकिन वहीं अब सरकार को उनके झूठे दावे पर आइना दिखाने के लिए एक बुजुर्ग महिला मूलभूत सुविधाओं को लेकर धरने पर बैठी है। बता दे कि वो बुजुर्ग महिला एक सड़क की मांग को लेकर धरने पर बैठी है उस सड़क के लिए जिसके प्रोजेक्ट को 10 साल पहले ही मंजूरी मिल गई थी। लेकिन अधिकारियों की लापरवाही या नेताओं की अनदेखी हुई जिस वजह से 10 साल पहले प्रोजेक्ट को मंजूरी मिल गई वो आज भी धरातल पर नही उतर पाई।
जानकारी के अनुसार बता दे कि यह मामला चमोली जिले का हैं यहाँ के सुदूरवर्ती गांव डुमक में मंगलवार को कड़ाके की ठंड में भी धरना नही रुका। बता दे कि सेंजी लग्गा डुमक गांव में सड़क के लिए ग्रामीण धरना प्रदर्शन कर रहे है। कहा जा रहा है कि यहां 10 सालों पहले स्वीकृत सड़क मार्ग अब तक नहीं बनी है। जिसके कारण आज भी ग्रामीण 25 से 50 किलोमीटर प्रतिदिन पैदल चलने के लिए मजबूर हैं। इस धरने में 100 साल की बुजुर्ग महिला बच्ची देवी भी शामिल हैं, जो लगातार 15 दिनों से कड़ाके की ठंड मे इस उम्मीद में धरने पर बैठी हैं कि उनकी गुहार शासन स्तर तक पहुंचेगी और उनके रहते गांव सड़क मार्ग से जुड़ सकेगी।
वहीं जानकारी के मुताबिक इन लोगों ने चुनाव का बहिष्कार करने की भी चेतावनी दी है। वहीं धरना दे रहे ग्रामीणों का आक्रोश लगातार बढ़ता जा रहा है। साथ ही सेंजी लग्गा डुमक सड़क के लिए क्षेत्र के ग्रामीण पदयात्रा भी कर रहे हैं। जबकि 18 जनवरी को जिला मुख्यालय पर विशाल प्रदर्शन करने को कहा जा रहा है।